अखिलेश ने आजमगढ़ में नए घर का गृह प्रवेश किया:सपा प्रमुख की सुरक्षा में चूक, युवक ने बैरिकेडिंग फांदी, पुलिसवालों को धक्का दिया
आजमगढ़ में सपा प्रमुख अखिलेश यादव की सुरक्षा में चूक हुई है। अखिलेश नए घर के गृह प्रवेश की पूजा के बाद मंच पर बैठे थे, तभी भीड़ से एक युवक अचानक पहुंचा और बैरिकेडिंग फांद गया। पुलिसवालों ने उसे पकड़ने की कोशिश की, लेकिन वह धक्का और कोहनी मारते हुए मंच के पास पहुंच गया।
मंच के करीब पुलिस जवानों ने उसे घेर लिया तो वह वहीं लेट गया। हाथ जोड़कर नारेबाजी करने लगा। इसके बाद पुलिसवालों ने जैसे-तैसे उसे वहां से हटाया। युवक का नाम प्रदीप यादव पुत्र पंचदेव यादव है। वह गाजीपुर जिले के सैदपुर थाने के मंसूरपुर गांव का रहने वाला है। 28 साल का प्रदीप ट्रैक्टर चलाने का काम करता है।
दरअसल, अखिलेश ने आजमगढ़ में 72 बिस्वा में नया घर बनवाया है। आज अकेले ही पहुंचकर उन्होंने गृह प्रवेश की पूजा की। इस घर में अखिलेश का ऑफिस रूम, 3 पर्सनल कमरे, सेक्रेटरी के लिए ऑफिस और समर्थकों के लिए बड़ा हॉल बनाया गया है। जिला मुख्यालय से 7 किमी दूर अनवरगंज में यह बना है।
अखिलेश ने कहा-

आजमगढ़ के इस नए पार्टी कार्यालय के नाम के लिए बहुत सुझाव आए। लेकिन, मैं इस कार्यालय का नाम ‘PDA भवन’ रखता हूं।
गृह प्रवेश के बाद अखिलेश ने जनसभा को संबोधित किया, पढ़िए 3 बड़ी बातें-
1- कथावाचक के साथ जैसा व्यवहार किया गया, हम भूल नहीं सकते अखिलेश ने जनसभा को संबोधित करते हुए कहा- गरीब परिवार कथा कराना चाहता है, लेकिन बड़े-बड़े कथावाचकों का बजट आप जानते नहीं होंगे कि कितना होता है। इसीलिए उन्होंने गरीब कथावाचक बुलाए। आप जानते होंगे कि उनके साथ कैसा व्यवहार हुआ।ऐसा व्यवहार हम लोग कभी नहीं भूल सकते। इसीलिए समय-समय पर हम आप लोगों को जगाते हैं। ये भाजपा के लोग संविधान से नहीं चलना चाहते। इनका रास्ता कोई और है। इनका रास्ता वो है, जो कभी मनु महाराज आए थे। कुछ गड़बड़ किया था। ये लोग उनके रास्ते पर चलते हैं।
2- यूपी में आज एक-एक कर पानी की टंकियां फट रहीं सरकार ने गांवों में जो टंकियां बनवाई हैं, उनमें जैसे पानी भरता है वो फट जाती हैं। पिछले तीन महीने से देख रहा हूं, एक-एक करके टंकियां फट रही हैं। ये यूपी वाले दिल्ली से बहुत घबराते हैं। जब-जब चुनाव आता है तो ये समाजवाद के खिलाफ बोलने लगते हैं। उन्हें वोटों का डर सताने लगता है। सीधे आरक्षण पर बात नहीं करते। कहते हैं कि समाजवाद खत्म होना चाहिए।
3- आज इंजन और डिब्बे टकरा रहे जिस विचारधारा से उनकी (भाजपा) पार्टी बनी है, उसी विचारधारा से इनके लोग टकरा रहे हैं। इस बार इंजन और डिब्बे नहीं टकरा रहे। इस बार पटरी वाले लोग पटरी हिलाना चाहते हैं। इसीलिए अपना अध्यक्ष नहीं चुन पाए। ये लोग ध्यान हटाने के लिए जाति जनगणना की बात करते हैं।
पूर्वांचल की 117 सीटों पर अखिलेश की नजर अखिलेश अभी तक लखनऊ से मध्यांचल और सैफई से पश्चिमी यूपी की सीटों की मॉनिटरिंग करते थे। ऐसे में पूर्वांचल अछूता रह जाता था। उसी कमी को पूरा करने के लिए अखिलेश ने आजमगढ़ को चुना है। इसके जरिए अखिलेश पूर्वांचल की 117 सीटों को साधेंगे।
पल-पल के अपडेट्स के लिए ब्लॉग से गुजर जाइए…